आज विश्वभर में 7वां अंतरराष्ट्रीय योग दिवस मनाया जा रहा है. छह साल पहले प्रधानमंत्री मोदी की पहल पर संयुक्त राष्ट्र ने 21 जून को अंतरराष्ट्रीय योग दिवस के रूप में मनाने का आह्वान किया था और देखते ही देखते दुनिया के तमाम देश इस मुहिम में शामिल हो गए.
क्या कहा पीएम मोदी ने
पीएम मोदी ने कहा- योग हमें स्ट्रेस से स्ट्रेंथ और नेगेटिविटी से क्रिएटिविटी का रास्ता दिखाता है
पीएम मोदी ने कहा, ‘भारत के ऋषियों ने, भारत ने जब भी स्वास्थ्य की बात की है, तो इसका मतलब केवल शारीरिक स्वास्थ्य नहीं रहा है. इसलिए, योग में फिजिकल हेल्थ के साथ-साथ मेंटल हेल्थ पर इतना जोर दिया गया है. योग हमें स्ट्रेस से स्ट्रेंथ और नेगेटिविटी से क्रिएटिविटी का रास्ता दिखाता है. योग हमें अवसाद से उमंग और प्रमाद से प्रसाद तक ले जाता है.’
कठिन समय में योग आत्मबल का एक बड़ा माध्यम बना
पीएम मोदी ने कहा, ‘दुनिया के अधिकांश देशों के लिए योग दिवस कोई उनका सदियों पुराना सांस्कृतिक पर्व नहीं है. इस मुश्किल समय में, इतनी परेशानी में लोग इसे भूल सकते थे, इसकी उपेक्षा कर सकते थे. लेकिन इसके विपरीत, लोगों में योग का उत्साह बढ़ा है, योग से प्रेम बढ़ा है. जब कोरोना के अदृष्य वायरस ने दुनिया में दस्तक दी थी, तब कोई भी देश, साधनों से, सामर्थ्य से और मानसिक अवस्था से, इसके लिए तैयार नहीं था. हम सभी ने देखा है कि ऐसे कठिन समय में, योग आत्मबल का एक बड़ा माध्यम बना.’
In collaboration with WHO, India has taken another important step. Now there will be M-Yoga app, which will have yoga training videos in different languages for people across the world. This will help us in our 'One World, One Health' motto.#InternationalYogaDay pic.twitter.com/SKVpeUoQt7
— ANI (@ANI) June 21, 2021
पीएम मोदी ने कहा- अब विश्व को M-Yoga ऐप की शक्ति मिलेगी
पीएम मोदी ने कहा, ‘अब विश्व को, M-Yoga ऐप की शक्ति मिलने जा रही है. इस ऐप में कॉमन योग प्रोटोकॉल के आधार पर योग प्रशिक्षण के कई विडियोज दुनिया की अलग अलग भाषाओं में उपलब्ध होंगे. मुझे पूरा विश्वास है M-Yoga ऐप योग का विस्तार दुनियाभर में करने और ‘वन वर्ड वन हेल्थ’ के प्रयासों को सफल बनाने में बड़ी भूमिका निभाएगा. जब भारत ने यूनाइटेड नेशंस में अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस का प्रस्ताव रखा था, तो उसके पीछे यही भावना थी कि ये योग विज्ञान पूरे विश्व के लिए सुलभ हो. आज इस दिशा में भारत ने यूनाइटेड नेशंस, WHO के साथ मिलकर एक और महत्वपूर्ण कदम उठाया है.’