तीन नए कृषि कानूनों के विरोध में हजारों की संख्या में दिल्ली सीमाओं के पास आंदोलन कर रहे किसान संगठनों ने केन्द्र सरकार से कहा कि वे बातचीत के अगले दौर की तारीख तय करें. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की तरफ से उनसे सोमवार को राज्यसभा से आंदोलन समाप्त करने की अपील करने और वार्ता के लिए निमंत्रण देने के बाद किसान संगठनों ने यह बात कही.
बहरहाल, किसान संगठनों ने राज्यसभा में प्रधानमंत्री मोदी की टिप्पणी पर आपत्ति की है कि देश में आंदोलनकारियों की नई ‘‘नस्ल’’ उभरी है, जिसे ‘‘आंदोलन जीवी’’ कहा जाता है. उन्होंने कहा कि लोकतंत्र में आंदोलन की महत्वपूर्ण भूमिका है. संयुक्त किसान मोर्चा के वरिष्ठ सदस्य किसान नेता शिव कुमार काका ने कहा कि वे अगले दौर की वार्ता के लिए तैयार हैं और सरकार को बैठक की तारीख और समय बताना चाहिए.
प्रधानमंत्री मोदी ने किसानों से आंदोलन खत्म करने की अपील करते हुए कहा, ‘‘उन्हें (आंदोलनकारियों को) आंदोलन वापस लेना चाहिए और हम मिल बैठकर समाधान निकालेंगे और वार्ता के दरवाजे खुले हुए हैं. इस सदन से मैं उन्हें वार्ता के लिए फिर आमंत्रित करता हूं.’’ किसान नेता और संयुक्त किसान मोर्चा के सदस्य अभिमन्यु कोहाड़ ने कहा कि सरकार पहले भी ‘‘सैकड़ों बार’’ कह चुकी है कि एमएसपी जारी है और जारी रहेगा.